दो दोस्त रेगिस्तान से होकर गुजर रहे थे | बीच-बीच में हंसी मजाक मजाक चल रहा था | पर अचानक मजाक तर्क वितर्क में बदल गया | गुस्से- गुस्से में एक दोस्त ने दूसरे दोस्त दूसरे दोस्त को थप्पड़ मार दिया | जिसे थप्पड़ पड़ा वह चुपचाप पीछे चलने लगा | एक जगह दोनों थोड़ा विश्राम करने के लिए रुके | थप्पड़ खाया हुआ दोस्त चुप था | वह चुपचाप रेत पर लिख रहा था आज मेरे सबसे अच्छे दोस्त ने मुझे थप्पड़ मारा | दूसरा दोस्त उसे देख रहा था | लेकिन चुप रहा | रेगिस्तान खत्म होने को आया | एक नदी के मुहाने दोनों दोस्त रुक गए और दोनों नहा ही रहे थे | की थप्पड़ खाया हुआ दोस्त डूबने लगा तो, दूसरे दोस्त ने उसे हाथ पकड़ कर उसे बाहर खींच लिया | मौत के खौफ से निकला हुआ , दोस्त थोड़ी देर बाद पत्थर पर लिख रहा था... आज मेरे सबसे अच्छे दोस्त ने मेरी जान बचाई | दूसरे दोस्त ने ने यह लिखने का कारण पूछा | तो उसने बताया जब कोई हमें ठेस पहुंचाता है तो उसे हमें रेत पर लिख देना चाहिए जिससे क्षमा की हवाएं उसे मिटा सके और जब कोई आपके प्रति अच्छाई करें तो उसे पत्थर पर उकेर देना चाहिए ताकि उसे कोई चाह कर भी न मिटा सके|
सीख:- जिनसे जीवन में सार्थकता है सिर्फ उन्हीं बातों को महत्व दें |
Bahut hi badhiya
जवाब देंहटाएंGreat 👍👍
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